कुछ सवाल है मेरे, क्या जवाब दे पाओगी तुम?
क्या साथ मेरा मेरी मौत तक निभा पाओगी तुम?
वो जो कसमे हमने खाई थी, कही तोड़ तो नही दोगी?
क्या वो सारे अधूरे वादे निभा पाओगी तुम?
ये तो मैं कई बार कह चुका हूँ कि मेरी सांसो में बसती हो तुम
इस धड़कते दिल से निकले हर खून के कतरे में हो तुम
क्या तुम्हारी वो साँसे, वो धड़कने मेरे नाम कर पाओगी तुम?
1 comment:
khoobsurat
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